गुरुवार, 30 मई 2013

पाक और ईश-निंदा का अन्धकार

पाक और ईश-निंदा का अन्धकार 

      एल आर गाँधी

लगता है ईश -निंदा के नाम पर अनगिनत निर्दोष अल्पसंख्यकों पर किये जुल्मो-सितम. ,और इस्लामिक आतंक के सताये  मासूम लोगों की बददुआएं पाक को भविष्य में .अन्धकार के गर्त में डुबो देंगी .
पाक पर ज़बरदस्त बिजली संकट है ...१८ -१८ घंटे का पावर कट  आम बात है ...पिछले चुनावों में यह एक मुख्य मुद्दा था ...सत्ता के प्रमुख दावेदार मियां नवाज़ शरीफ अपने परम हितैषी चीन के हुक्मरान को पाक को बिजली संकट से उबारने में सहायता की बार बार गुहार लगा रहे हैं ...और चीन भी अपने दुश्मन के दुश्मन परम मित्र पाक को पावर क्राइसिस के इस अंधकूप से बाहर  निकलने में जी जान से लगा है .
ऐसे में ईश -निंदा का महादानव चीन की अँधेरा- हटाओ योजनाओं के बीच आ टपका है.  पाक अधिकृत कश्मीर में चल रहे  एनर्जी प्रोजेक्ट मनेज़र ली पिंग अकस्मात ही ईश -निंदा के आरोप में फंस गए ...हुआ यूँ कि ली पिंग का अपने ही विभाग के एक पाक अधिकारी डॉ . साजिद से कमरे का तकरार चल रहा था .. ली ने तैश में आ कर साजिद मियां का सामान कमरे से बाहर  फेंक दिया और सामान में उर्दू में लिखी 'कुरआन ' भी थी ....जैसे ही मुस्लमान कर्मचारिओं को कुरआन की तौहीन का पता चला ..ली की शामत आ गई और साजिद मियां को मौका मिल गया ली को सबक सिखाने का ...किसी तरहां ली को पुलिस ने लोगों के कहर से तो बचा लिया ..मगर ईश-निंदा के कानून के कहर से कौन बचाएगा ?
ईश निंदा की सजा मौत है ...पाक में इंसान का क़त्ल करके तो बचा जा सकता है ...ब्लड मनी चूका कर ..मगर ईश निंदा के दोषी की तो  बस अल्लाह ही खैर करे ...अब भविष्य में क्या कोई 'ली' चीन से,  पाक के अँधेरे में रौशनी की लौ जलाने  के लिए पाक आने का दुस्साहस कर पाएगा ?  

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