शुक्रवार, 19 अप्रैल 2013

भारत का भविष्य या भविष्य का भारत


ये मेरे देश की तस्वीर हैं ... जहां मेरा साईं भगवान सोने में लदा बैठा है ... मंदिर, मस्जिदों की उंचाइयां बढ़ रही हैं ... और देश का भविष्य गा रहा है सारे जहां से अच्छा .. हिन्दुस्तान हमारा .... सिर्फ शिकायत मत करो ...बदलाव का हिस्सा बनो..
 भारत का भविष्य या भविष्य का भारत
     एल आर गाँधी 

सारे जहाँ से अच्छा हिंदुस्तान हमारा ,
मदरसे पे छत नहीं है ,रौशन है कल हमारा ...
ज़ाहिर है यह एक सरकारी नर्सरी स्कूल है जहाँ भविष्य का भारत तालीम हासिल कर रहा है ...नौनिहाल बाकायदा ड्रेस में हाज़िर हैं और मिस पूरी तल्लीनता से जमींदोज़ दीवार पर टिके खस्ताहाल ब्लैकबोर्ड पर सफेद चाक से बच्चों को उज्जवल भविष्य से रूबरू करवा रहीं हैं ....बच्चो की मासूमियत और मिस के ज़ज्बे को सलाम .
३ ५ लाख के शौचालय में बैठ कर केंद्र के मौन्टेक सिंह जी ने १२ वीं पंच वर्षीय योजना में , देश के हर एक स्कूल को एक-एक जनाना -मरदाना देने का पूरा -पूरा इंतज़ाम किया है . अब केंद्र का बज़ट राज्य सरकार खुर्द बुर्द कर दे तो इसमें बेचारे मन- मौन सिंह या फिर  राजमाता का क्या कसूर है . 
हमारे संस्कारों व् संस्कृति में तालीम  के इन  इदारों को किसी मंदिर ,मस्जिद गुरद्वारे या चर्च से कम नहीं आँका जाता . एक ओर साईं बाबा को सोने के मुकटो से सजाया संवारा जाता है ..नगर- नगर गाँव गाँव मंदिर -मस्जिदों के मीनार नई नई बुलंदियों को छू रहे हैं और ये भ्रष्ट तंत्र से त्रस्त इदारे धुल धूसरित हुए जा रहे है . 
सवा सौ करोड़ के इस देश में  २४ लाख मंदिर,मस्जिद गुरद्वारे व् गिरजाघर हैं जहाँ पर हम हिंदुस्तानी अपने ईष्ट से अपने बच्चो के उज्जवल भविष्य  की दुआ मांगते हैं ... ६ लाख हस्पताल ,क्लिनिक व् डिस्पेंसरियां हैं जहा बीमार  समाज को दरुस्त-तंदरुस्त किया जाता है .. राष्ट्र के भविष्य बच्चो और युवाओं , जो  कुल आबादी का एक तिहाई हैं के लिए मात्र १५  लाख स्कूल कालेज हैं और इनमें ऐसे 'सरकारी आदर्श ' स्कूल भी अनगिनत हैं जहाँ नेहरु जी की पंच वर्षीय योजनाओं की सुख सुविधाओं की ब्यार अभी पहुंचनी बाकी है ....फिर भी २१ वी सदी के 'आदर्श स्कूल 'को सलाम !
    

मंगलवार, 16 अप्रैल 2013

राजमाता की सुरक्षा और निजता

राजमाता की सुरक्षा और निजता 

       एल आर गाँधी

बीडी के लम्बे कश सडकते चोखी लामा आग बबूला हुए चले आ रहे थे ...ड्योढ़ी में कदम रखते ही उबल पड़े ...ये असान्जे तो मुझे आर एस एस का आदमी लगता है ..यकीन नहीं तो इसकी पेंट खुलवा कर देखो ..शर्तिया अन्दर से खाकी नीकर निकलेगी . यह भी कोई बात हुई भला पहले राजीव जी के स्विस खाते फरोले और अब अपनी मुई विकीलीक पर मरहूम को स्वीडन की विमान  कंपनी का दलाल बता  डाला . कहता है कि कंपनी ने भारत को जंगी जहाज बेचने के लिए राजीव जी को दलाल बोले तो कमीशन एजेंट मुकर्र किया था ...
हमने चोखी को शांत  हुए कहा अरे मियां चोखी इसमें बीडी की माफिक  सुलगने की क्या बात है ..हमारे दिवेदी जी ने  तमाम खुलासे को खारिज तो कर दिया ...बुझ गई बीडी को फिर से सुलगते हुए लामा फिर सुलगने लगे अरे मियां ये तो सारे के सारे फिरंगी 'संघी ' हो गए हैं ...अभी पिछले दिनों एक विदेशी रसाले ने सोनिया जी को चौथा सबसे अमीर राजनेता बता डाला ...और फिरंगियो के देसी एजेंटों ने आर टी आर डाल कर सोनिया जी की
आय कर रिटर्न मांग ली ...
बीडी के जल कर ख़ाक हुए फोलक की माफिक हमने चोखी को फिर समझाने की नाकान जैसी कोशिश करते हुए बताया ...भई यह तो हर नागरिक को सोनिया जी के मनमोहन का दिया हक़ है ..और फिर सभी सांसद अपनी कमाई का  लेखा जोखा सार्वजनिक करने को पाबन्द हैं ....बीडी की आखिरी चिंगारी से उंगली जला बैठे लामा ने हाथ झटक कर भेद की बात समझाते हुए फ़रमाया ...मियां आय कर वालो ने भी कोई कच्ची गोलिया नहीं खेली ..सोनिया जी से पूछा  और टका सा जवाब दे दिया .....सुरक्षा और निजता भी चीज़ है कि नहीं !

गुरुवार, 11 अप्रैल 2013

चोखी लामा ..उवाच

चोखी लामा ..उवाच 

  एल आर गाँधी

चोखी लामा हमेशां की माफिक आज भी किसी ताज़ा खबर की जुगाली करते आवारा सांड से हमारे गरीबखाने में घुसे चले आ रहे थे ...घुसते ही जुगाली को सड़क कर बोले ..अरे भई .. गाँधी।। तुमने आज का नया जमाना देखा ? हमने सहज मन से फ़रमाया , भई चोखी हम तो तुम्हे मालूम ही है अंग्रेजी अखबार पढते है . अरे मियां क्या ख़ाक पढ़ते हैं ..चोखी भन्ना कर बोले . इन फिरंगी खबरनामों में घर की खबर तो ढंग की होती नहीं फिर बाहर की क्या ख़ाक देंगे . खैर हम बताते हैं ..सुनो .. चीन में लियु झिजुन  जो कभी रेल मंत्री थे 'नाप' दिए गए हैं  ..अमानत में खयानत वही जिसे आपके ये फिरंगी अखबार क्रपशन बोले तो भ्रष्टाचार में लिप्त पाए गए .२  ० ० ३ में रेल मंत्री के साथ साथ मंत्रालय में कम्युनिष्ट पार्टी आफ चाईना के प्रमुख भी थे .
हमसे रहा न गया ..अरे भई चोखी इसमें नया क्या है . हमारे भी तो बहुत से मंत्री अन्दर- बाहर अक्सर होते आए हैं ..बस फिर क्या था ..चोखी की जुगाली दिमाग में सड़क गई ... लगे भिन्नाने ..मियां यह चीन है ..देखना दिनों दिनों में लियु लटका दिए जाएंगे ..पिछले दिनों दो पार्षद नगरपालिका लूटते धरे गए थे ..महज़ तीन माह में लटका दिए ...हमारे माफिक नहीं केस दर केस ..पेशी दर पेशी ..अपील दर अपील और फिर जमानत ..यहाँ अफजल जैसों को लटकाने में भी  १ १ साल लगा दिए जाते हैं ..
हमने चोखी को फिर से समझाने की नाकाम कोशिश करते हुए फ़रमाया भई चोखी हमारे अपने संस्कार हैं ..हम दुनिया की सबसे विशाल डेमोक्रेसी बोले तो लोकतंत्र हैं ..हम चीन की माफिक नहीं लटका सकते . यह नेहरु -गाँधी का देश है ..नेहरु जी को जब पंजाब के कुछ लोगों ने मुख्य मंत्री कैरो साहेब के घोटालों -लूट के बारे में आगाह किया तो नेहरु जी ने बड़ी विनम्रता से समझाया ..देश का पैसा देश में है तो लूट से क्या फर्क पड़ता है  ..फिर हम तो विश्व बंधुत्व के अलमबरदार है ..अब देश का पैसा स्विस बैंको में जा रहा है तो क्या आफत आ गई ..हमारे बंगाली बाबू ने स्विस सरकार से समझौता कर इसका भी नेहरु-गाँधी हल निकाल ही दिया था ..नए खातों की जानकारी जरुरी है ..पुराने गए भाड़ में ...समझौते की महिमा देखो ! राजमाता ने महामहिम बना दिया ..

शनिवार, 6 अप्रैल 2013

मधुमक्खी -अरिष्ट लक्षण

मधुमक्खी -अरिष्ट लक्षण 

  एल. आर. गाँधी

राज कुमार के मधुमक्खियों के छत्ते में 'रानी मक्खी' पर जबसे मोदी ने निशाना साधा है ...रानी की भक्त मण्डली के मखियाल भिन -भिन्ना उट्ठे हैं ...मियाँ रशीद अल्वी को तो मोदी में यमराज के दर्शन होने लगे ..हों भी क्यों न ...यमराज तो मात्र प्राण ही हरता है , मोदी राज-पाठ हरने पर उतारू हैं ..जब राज ही नहीं रहेगा तो राजमाता और उनके कुंवारे कुंवर का क्या होगा ...जब से राजकुमार ने उद्योगपतियों के जमघट में भारत पर चिरपरिचित 'हाथी 'की परिभाषा को नकारा है और इण्डिया को ' हाथी नहीं मधुमक्खियों का छत्ता बताया है ..भाजपाइ दोनों हाथों में पत्थर उठाए 'छत्तो' की तलाश में निकल पड़े हैं ...और 'रानी मक्खी' की तो अब खैर नहीं ...बहुत चूस लिया इस विदेशी-बी ने ...बस एक ही झटके में सत्ता का छत्ता जमीन पर और मधु मक्खी और मखियाल ....ढूंढते रह जाओगे ?
तिवारी जी दो  कदम आगे निकले और अल्वी के नहले पर दहला जमाया और फ़रमाया 'मोदी २ ० ० २ की 'घटनाओं ' को   नहीं दोहराएं ! मनीष मियां हैं तो सूचना और प्रसारण मंत्री ..शायद २ ० ० २ का इतिहास भूल गए !  'घटनाओं के मूल में एक ' त्रासदी 'थी ...कारसेवको को ट्रेन में घेर कर जिन्दा जला दिया गया था . अब मियां अल्वी लाख कहें 'इस देश पर प्रभु राम की कृपा बनी रहे . प्रभु राम तो राम भक्तो के साथ हैं क्योंकि जन्म भूमि पर  तो सदियों पहले 'बर्बर ' जेहादियों ने इक इमारत खड़ी कर दी थी.
जबसे मोदी ने भारत माँ का क़र्ज़ चुकाने की बात कही है ...देश को क़र्ज़ के रसातल में पहुचने वालो को सपने में भी मोदी भैंसे पर सवार ,हाथ में दंड लिए उनकी और आते दिखाई देने लगे हैं ...इस प्रकार के सपने देखने वाले 'रोगी' के लिए   आयुर्वेद में 'अरिष्ट- लक्षण' माना गया है .... मृत्यु से पूर्व के लक्षण !